ED ने यह जांच रावजी पुलिस स्टेशन, इंदौर में दर्ज FIR के आधार पर शुरू की थी. जिसमें कुछ शराब ठेकेदारों पर लगभग ₹49.42 करोड़ का सरकारी नुकसान पहुंचाने का आरोप है. इन ठेकेदारों ने सरकारी ट्रेजरी चालानों में हेराफेरी की थी. वे चालान में रुपये शब्दों में वाला हिस्सा खाली छोड़कर जमा कर देते थे और बाद में पैसा बढ़ाकर फर्जी चालान तैयार कर लेते थे.
बिहार: बीजेपी की प्रदेश चुनाव समिति की बैठक समाप्त, उम्मीदवार चयन पर दिल्ली में लगेगी अंतिम मुहर
चुनाव आयोग द्वारा बिहार विधानसभा चुनाव 2025 की तारीखों की घोषणा के बाद राजनीतिक सरगर्मियां तेज हो गई हैं. एनडीए नेता चुनाव की तारीखों को लेकर उत्साहित हैं. केंद्रीय मंत्री…